Society & Culture
अगर आपसे कहा जाए कि किसी वीरान हवेली में आत्मा लौटती है... तो क्या आप हँसेंगे, या उसे देखने जाएंगे?"
रुद्रपुर की 'ठाकुर हवेली' में, एक लड़की गई तो थी मज़ाक में... लेकिन लौटी कभी नहीं।
अब हर पूर्णिमा की रात... कोई खिड़की से झाँकता है।
कहानी है — 'वापसी' — जहाँ डर आपका इंतज़ार कर रहा है..."